मुजफ्फरनगर हिंसा को लेकर सपा की सियासत में दरार आ गई है। चौतरफा हमले से घिरी पार्टी के नेता अब एक-दूसरे की घेरेबंदी में लग गए हैं।
पूर्व सांसद अमीर आलम ने सपा महासचिव एवं राज्यमंत्री का दर्ज प्राप्त अनुराधा चौधरी और गो-सेवा आयोग के अध्यक्ष पर लोगों को हिंसा के लिए उकसाने का आरोप लगाकर सनसनी फैला दी है।
उन्होंने कहा कि प्रशासन के नकारेपन की वजह से अल्पसंख्यकों पर कहर बरपा है। एक लाख से अधिक लोग बेघर हो गए हैं। डीजीपी और एडीजी को हटाने के साथ पूर्व डीएम के खिलाफ भी मुकदमा दर्ज होना चाहिए।
बिजनौर लोक सभा प्रत्याशी पूर्व सांसद अमीर आलम ने राज्यमंत्री चितरंजन स्वरूप, वीरेंद्र सिंह, सपा जिलाध्यक्ष प्रमोद त्यागी, बेटे विधायक नवाजिश आलम और इलम सिंह की मौजूदगी में मीडिया के समक्ष यह आरोप लगाए।
उन्होंने कहा कि सरकारी मशीनरी के नकारेपन की वजह से जिले में कहर बरपा है। खुफिया तंत्र और प्रशासन द्वारा गलत रिपोर्ट दिए जाने से शासन गंभीरता नहीं दिखा पाया है।
पूर्व डीएम सुरेंद्र सिंह के साथ सपा महासचिव अनुराधा चौधरी और मुकेश चौधरी ने एक विशेष वर्ग के लोगों को उकसाने का काम किया है। कुटबी में जो जुल्म हुआ, उसमें मुकेश चौधरी के एक करीबी का हाथ रहा है।
उन्होंने सीबीआई जांच कराने की बात से इंकार करते हुए कहा कि अखिलेश यादव सरकार जल्द से जल्द दोषियों के खिलाफ कार्रवाई करेगी। पूर्व सांसद ने कहा कि यदि खालापार की सभा नहीं होती तो इस तरह की नौबत नहीं आती।
एसएसपी ने हमारी नहीं सुनी थी: मंत्री
राज्यमंत्री चितरंजन स्वरूप और वीरेंद्र सिंह ने कहा कि घटना से अगले दिन ही मलिकपुरा का भ्रमण करने के बाद डीएम और एसएसपी से ममेरे भाइयों के परिजनों के नाम निकालने के लिए कहा था। लेकिन एसएसपी सुभाष चंद्र दुबे ने नहीं सुनी, जिस कारण यह स्थिति पैदा हुई। उन्होंने कहा कि कुछ गांवों में हुई हिंसा को सांप्रदायिक रूप की नजर से नहीं देखा जाना चाहिए।
सिद्दीकी के खिलाफ भी कार्रवाई होगी
सपा नेताओं ने खालापार में सभा को लेकर विवादों से घिरे सपा के प्रदेश सचिव राशिद सिद्दीकी के खिलाफ भी कानूनी कार्रवाई की मांग की गई। जिलाध्यक्ष प्रमोद त्यागी ने कहा कि कार्रवाई के लिए प्रदेश अध्यक्ष को रिपोर्ट दी जा चुकी है।
पूर्व सांसद अमीर आलम ने सपा महासचिव एवं राज्यमंत्री का दर्ज प्राप्त अनुराधा चौधरी और गो-सेवा आयोग के अध्यक्ष पर लोगों को हिंसा के लिए उकसाने का आरोप लगाकर सनसनी फैला दी है।
उन्होंने कहा कि प्रशासन के नकारेपन की वजह से अल्पसंख्यकों पर कहर बरपा है। एक लाख से अधिक लोग बेघर हो गए हैं। डीजीपी और एडीजी को हटाने के साथ पूर्व डीएम के खिलाफ भी मुकदमा दर्ज होना चाहिए।
बिजनौर लोक सभा प्रत्याशी पूर्व सांसद अमीर आलम ने राज्यमंत्री चितरंजन स्वरूप, वीरेंद्र सिंह, सपा जिलाध्यक्ष प्रमोद त्यागी, बेटे विधायक नवाजिश आलम और इलम सिंह की मौजूदगी में मीडिया के समक्ष यह आरोप लगाए।
उन्होंने कहा कि सरकारी मशीनरी के नकारेपन की वजह से जिले में कहर बरपा है। खुफिया तंत्र और प्रशासन द्वारा गलत रिपोर्ट दिए जाने से शासन गंभीरता नहीं दिखा पाया है।
पूर्व डीएम सुरेंद्र सिंह के साथ सपा महासचिव अनुराधा चौधरी और मुकेश चौधरी ने एक विशेष वर्ग के लोगों को उकसाने का काम किया है। कुटबी में जो जुल्म हुआ, उसमें मुकेश चौधरी के एक करीबी का हाथ रहा है।
उन्होंने सीबीआई जांच कराने की बात से इंकार करते हुए कहा कि अखिलेश यादव सरकार जल्द से जल्द दोषियों के खिलाफ कार्रवाई करेगी। पूर्व सांसद ने कहा कि यदि खालापार की सभा नहीं होती तो इस तरह की नौबत नहीं आती।
एसएसपी ने हमारी नहीं सुनी थी: मंत्री
राज्यमंत्री चितरंजन स्वरूप और वीरेंद्र सिंह ने कहा कि घटना से अगले दिन ही मलिकपुरा का भ्रमण करने के बाद डीएम और एसएसपी से ममेरे भाइयों के परिजनों के नाम निकालने के लिए कहा था। लेकिन एसएसपी सुभाष चंद्र दुबे ने नहीं सुनी, जिस कारण यह स्थिति पैदा हुई। उन्होंने कहा कि कुछ गांवों में हुई हिंसा को सांप्रदायिक रूप की नजर से नहीं देखा जाना चाहिए।
सिद्दीकी के खिलाफ भी कार्रवाई होगी
सपा नेताओं ने खालापार में सभा को लेकर विवादों से घिरे सपा के प्रदेश सचिव राशिद सिद्दीकी के खिलाफ भी कानूनी कार्रवाई की मांग की गई। जिलाध्यक्ष प्रमोद त्यागी ने कहा कि कार्रवाई के लिए प्रदेश अध्यक्ष को रिपोर्ट दी जा चुकी है।
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